धनेली में डा.अंबेडकर के आदमकद प्रतिमा का अनावरण संभाग आयुक्त महादेव कावड़े ने किया

प्रोफे. के0 मुरारी दास की रिपोर्ट

LOK ASAR GURUR/BALOD

समुचे गुरुर तहसील के गांव को हिंदू में या भगवा रंग में रंगे हुए अनेकों बार देखा पर अंचल के इतिहास में शायद पहली बार ऐसी भव्यता पूर्ण स्थिति आई जब तहसील मुख्यालय से 7 किलोमीटर दूर ग्राम धनेली बोड़रा मैं महार बौद्ध समाज के कौशल परिवार द्वारा यहां के स्वामी विवेकानंद शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय परिसर में बाबा साहब अंबेडकर के आदमकद प्रतिमा का अनावरण किया गया. कार्यक्रम के मुख्य अतिथि थे माननीय एम.डी कावड़े संभाग आयुक्त दुर्ग ,तथा कार्यक्रम की अध्यक्षीय आसंदी पर थे दिलीप वासनिकर, संभागायुक्त राज्य वित्त जांच आयोग छत्तीसगढ़ शासन. उपस्थित समस्त अतिथियों ने इस अवसर पर समाज सेवा के क्षेत्र में कौशल परिवार के सोमनाथ कौशल द्वारा किए गए कार्यों का जिक्र करते हुए उन्हें क्षेत्र के दानवीर एवं समाजसेवी के रूप में पुण्य स्मरण किया गया, साथ ही राष्ट्र निर्माण में बाबासाहेब आंबेडकर के जीवन और संघर्षो पर अतिथि द्वारा विस्तार से प्रकाश डाला गया.
प्रतिमा अनावरण के पूर्व समस्त अतिथियों एवं ग्राम वासियों द्वारा बाबा साहब अंबेडकर के संविधान के प्रस्तावना का वाचन किया गया. भंते जी द्वारा त्रिशरण एवं बुद्ध वंदना के साथ.

प्रतिमा अनावरण में सम्मानित अतिथियों द्वारा कोशल परिवार के समस्त परिजनों द्वारा किया गया.समारोह में जनपद पंचायत के सभापति श्रीमती राजश्री छत्री जनभागीदारी महाविद्यालय समिति के अध्यक्ष टोमन साहू,छत्तीसगढ़ समता सैनिक दल के आनंद रामटेके, सर्व आदिवासी समाज के प्रदेश अध्यक्ष बीएस रावटे, कलार समाज के संरक्षक दीपक सिन्हा, ओबीसी महासभा छत्तीसगढ़ के फाउंडर गौतम दास साहू, ओबीसी महिला मोर्चा अध्यक्ष श्रीमती भगवती सोनकर के अतिरिक्त अनुसूचित जाति अनुसूचित जनजाति एवं अन्य पिछड़ा वर्ग के अनेक प्रदेश एवं जिला पदाधिकारी सहित विद्यालय परिवार के प्राचार्य टी.के साहू सहित विद्यालय के समस्त शिक्षक छात्र छात्राएं एवं ग्रामवासी इस कार्यक्रम के साक्षी रहे .

सतगुरु कबीर जयंती के पावन अवसर पर अनावरित यह कार्यक्रम ऐतिहासिक क्षण के साथ-साथ यादगार बना रहेगा . बाबासाहेब से संबंधित अनेक सांस्कृतिक प्रस्तुतियां छात्र-छात्राओं द्वारा दी गई. समारोह का संचालन व्याख्याता कन्हैया लाल गजेंद्र ने किया तथा देवव्रत कौशल के आभार प्रदर्शन के साथ कार्यक्रम संपन्न हुआ.

इसके पूर्व गांव से लेकर हाईस्कूल तक ग्राम वासियों, बौद्ध महार समाज, कौशल परिवार के परिजनों द्वारा रैली निकाली गई पूरे नीले रंग नीले रंग में रंगा जुलूस हाई स्कूल में जाकर सभा के रूप में तब्दील हुई .

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