(दंतेवाड़ा से हमारे संवाददाता उमा शंकर की रिपोर्ट)
(लोक असर समाचार दंतेवाड़ा)
माता दंतेश्वरी की नगरी दंतेवाड़ा से लगभग 30 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है नागफनी मन्दिर। बताया जाता है छिंदक राजाओं के शासन काल का नागदेवता की अविरल प्रतिमाओं का वह मंदिर जिसे नागफनी के ग्रामीणों तथा नागफनी के ही अटामी परिवार के सहयोग से वापिस जीर्णोद्धार करवाया गया है ।
ज्ञात हो, नागफनी मंदिर में हर वर्ष की तरह इस बार भी नागपंचमी के दिन विधिवत् तरीके से पूरे धूम-धाम से नागदेवता की पूजन संपन्न की गई । नाग-नागिन पूजन को सनातन धर्म में बेहद महत्वपूर्ण माना गया है। नाग देवता को भ्रातातुल्य मानकर विधि-विधान से पूजन की जाती है।
मंदिर समिति के अनुसार 8 अगस्त से 10 अगस्त तक लगातार धार्मिक कार्यक्रमों का आयोजन जारी है जहां ॐ नमः शिवाय के जाप के साथ भक्त गण विधिवत् उपवास रख नागदेव को हमेशा की तरह प्रसन्न रखने का प्रयास करेंगे , ताकि नागदेव अपनी अनुकम्पा व कृपा दृष्टि उनके परिवार और समाज जनों पर निरंतर बरसाते रहें ।
नाग पंचमी के इस अवसर पर विश्व हिंदू परिषद के कार्यकर्ताओं के द्वारा नागफनी गांव के बने अखाड़े में युवाओं हेतु देशी कुश्ती का आयोजन रखा गया था।
जिसमें प्रथम विजेता उमेश नाग को ग्यारह सौ रूपए, परकेश नाग द्वितीय को पांच सौ तथा अन्य विजेताओं को उत्साहवर्धन राशि प्रदान की गई।
उल्लेखनीय है इस कार्यक्रम को सफल बनाने में विहिप के विभाग संयोजक संतोष साहू , विजय जुर्री का कार्य सराहनीय रहा। 2021 से लगातार इस दंगल का संचालन नागपंचमी के अवसर पर होता आ रहा है ।
इस आयोजन में मुख्य अतिथि थे गुमरगुंडा के स्वामी जी के एवं विहिप के जिलाध्यक्ष राजाराम वट्टी, बुधरी तांती, जिलाराम, महेश, अनिल,ओम सोनी सह नागफनी मंदिर के संचालक प्रामोद अटामी मौजूद रहें ।