LOK ASAR JAGDALPUR
लोक संस्कृति और कला को समर्पित बहुमुखी प्रतिभा के धनी आकाशवाणी जगदलपुर के उपनिदेशक बलबीर सिंह कच्छ की सेवानिवृत्ति उपरांत आकाशवाणी जगदलपुर के ग्रामीण कार्यक्रमों के कंपेयरों द्वारा दिनांक 2/3/2025 को आकाशवाणी जगदलपुर के परिसर में भव्य विदाई समारोह का आयोजन किया गया।


बलबीर सिंह कच्छ सर जी के कला के प्रति समर्पण ने बस्तर की लोक कला और कलाकारों को प्रोत्साहित किया है । उन्होंने आकाशवाणी जगदलपुर से लोक बोलियों में विविध कार्यक्रमों के प्रसारण से रेडियो के प्रति लोगों को आकर्षित किया ।आपके मार्गदर्शन और सहयोग से अनेक कलाकारों का आत्मविश्वास बढ़ा और जनमानस में पहचान बनी।
इस अवसर को यादगार बनाने हेतु ग्रामीण कार्यक्रम प्रस्तोताओं ने हल्बी बोली में आमंत्रण पत्र के द्वारा बलबीर सिंह कच्छ जी के परिवार और उनसे जुड़े तथा आकाशवाणी जगदलपुर से जुड़े कलाकारों व अधिकारियों को आमंत्रित किया।


कार्यक्रम का शुभारंभ दीप प्रज्ज्वलन एवम् पूजन द्वारा किया गया। इसके पश्चात् पुष्पहार और पुष्प गुच्छ से समस्त कंपेयर एवं उपस्थित अतिथियों द्वारा बलबीर सिंह कच्छ का स्वागत किया गया। आपकी प्रेरणा से भरपूर जीवनी के बारे में जानकारी दी गई । सभी कंपेयर एवम् उपस्थित अतिथियों ने आपके साथ बिताए मधुर और स्मरणीय पलों को साझा किया।
बलबीर सिंह कच्छ ने अपनी भावनाओं को व्यक्त करते हुए कहा कि शासकीय रूप से सेवा निवृत्त होने के बाद भी लोक संस्कृति के संरक्षण एवम् संवर्धन हेतु निरन्तर कार्य करते रहेंगे तथा विदाई समारोह के भव्य आयोजन की सराहना करते हुए आभार जताया।

बलबीर सिंह कच्छ के सम्मान में पहली बार विदाई समारोह में लोक नर्तक दलों के साथ बस्तर के नाट की भी प्रस्तुति की गई।
कम्पेयरों द्वारा अनुभवों के साथ साथ गीत भी प्रस्तुत किए गए। अंत में ग्रामीण कार्यक्रम घर दुआर, आमचो गांव, किसान वाणी,युववाणी, हल्बी गोंडी समाचार वाचकों की ओर से काष्ठ शिल्प स्मृति चिन्ह, शॉल श्रीफल व सम्मान पत्र प्रदान किया गया।
इस अवसर पर बलवीर सिंह कच्छ जी की धर्म पत्नि उमा कच्छ व परिवार तथा समस्त कंपेयर, कलाकार,आकाशवाणी और दूरदर्शन के अधिकारी कर्मचारीगण उपस्थित थे।विशेष रूप से बोंगुराम नाग, उर्मिला गोयल,दिलीप उइके, शशांक शेंडे, चन्द्रऋषि ठाकुर,विनोद साव,शिवनारायण पांडे , लखेश्वर खुदराम उपस्थित रहे।
कार्यक्रम का संचालन पूर्णिमा सरोज एवं शंभूनाथ नाग ने किया। सभी ने एक साथ जलपान, भोजन ,नृत्य, गीत के साथ भावुक पलों को यादगार बनाया।
